Sunday, 9 July 2023

आखिर सच हो ही गयी अल्बर्ट आइंस्टीन की १०० वर्ष पहले की गयी भविष्यवाणी ,खुलेंगे बहुत से नए रहस्य व राज ब्रह्माण्ड।



आखिर सच हो ही गयी अल्बर्ट आइंस्टीन की १०० वर्ष पहले की गयी भविष्यवाणी ,खुलेंगे बहुत से नए रहस्य व राज ब्रह्माण्ड।



अंतरिक्ष वैज्ञानिकों की नई खोज  (Space Scientists) ने ब्रह्माण्ड में  गुरुत्वाकर्षण तरंगों को लेकर बड़ी सफलता प्राप्त की है। अंतरिक्ष वैज्ञानिकों के एक समूह  ने ब्रह्मांड में गूंजती गुरुत्वाकर्षण तरंगों से उत्तपन  धीमी आवाज का पता लगाया है। वैज्ञानिकों का दवा है की  कि ब्रह्मांड में हमेशा एक ध्वनि गूंजती रहती है।  यंहा ये भी बता दे  कि महान वैज्ञानिक अल्बर्ट आइंस्टीन ने  आज से सौ साल पहले इसको लेकर  ऐसी ही भविष्यवाणी की थी।



आइंस्टीन ने उस समय के बहुत  ही कम उपलब्ध संसन्दनो के बावजूद अपनी थेओरिएस के दम  पर ही 
 आइंस्टीन ने सौ साल पहले इसको लेकर भविष्यवाणी की थी, जिसके बारे में वैज्ञानिकों ने अब  पता लगाया है। वैज्ञानिकों ने गुरुवार को इसकी घोषणा की।

वाशिंगटन, ऑनलाइन डेस्क के  अंतरिक्ष वैज्ञानिकों ने गुरुत्वाकर्षण तरंगों को लेकर काफी बड़ी सफलता हासिल की है। अंतरिक्ष वैज्ञानिकों ने  ब्रह्मांड में गूंजती गुरुत्वाकर्षण तरंगों की धीमी आवाज का पता लगाया है। वैज्ञानिकों ने कहा कि ब्रह्मांड में हर समय एक ध्वनि गूंजती रहती है। जिसके बारे में अल्बर्ट आइंस्टीन ने लगबग १०० साल पहले ही बता दिया था 


वैज्ञानिकों की इस नई खोज से अंतरिक्ष क्षेत्र  को समझने में पहले से अधिक आसानी होगी  उत्तरी अमेरिका, यूरोप, चीन, भारत और ऑस्ट्रेलिया में रेडियो दूरबीनों का उपयोग करके सैकड़ों वैज्ञानिकों द्वारा प्राप्त सफलता को एक ठोस  बिंदु माना  जा रहा है, जो ब्रह्मांड की खोजो  में एक नया रास्ता खोलेगा।





इस संघ में शामिल एक भौतिक वैज्ञानिक जेवियर सीमेंस ने कहा कि मैं इसे एक ग्रुप के रूप में देख रहा हूं। जेवियर सीमेंस इस संघ का हिस्सा है, जो इस पर रिसर्च कर रहा है।

 पहले ऐसा माना    जाता था कि ब्रह्मांड में कोई ध्वनि नहीं है यह सिर्फ कोरी कल्पना है , लेकिन इस खोज के बाद  जब से ध्वनि के बारे में पता चला है अब लोगो व वैज्ञानिको की राय  बदलने लगी है 

  आखिर क्या होता है गुरुत्वाकार्षण?



 जब भी दो ब्लैक होल  या बहुत बड़ी आकाशिए पिंड  एक-दूसरे से टकराते हैं   तो गुरुत्वाकर्षण तरंगें निकलती है।  गुरुत्वाकर्षण तरंगें किसी भी आकाशिए पिंड या  वस्तु के घूमने से उत्पन्न होती हैं।

100 साल पहले  सबसे पहले अल्बर्ट आइंस्टीन ने भविष्यवाणी की थी की  गुरुत्वाकर्षण तरंगें लगभग पूरी तरह से प्रकाश की गति से हर चीज से होकर गुजरती हैं।



















No comments:

Post a Comment